जीवन में मनुष्य का परस्पर जुड़ाव और झुकाव उनके साथ बने रिश्तों की तरफ होता है । ये वे रिश्ते जो एक दूसरे के साथ आपस में मेल-जोल , स्नेह - सहयोग , कद्र और सम्मान देकर हमारे इस अनमोल जीवन को खूबसूरती देने का काम करते हैं । इनमें दोस्त , प्रेमी - प्रेमिका , पति-पत्नी , मां - पापा , भाई-बहन आदि अनगिनत रिश्तों से हम सब परिचित है । रिश्ता कोई सा भी हो लेकिन सबसे अहम बात ये है कि हम इन रिश्तों को किस तरह से निभाते हैं? और इन रिश्तों में एक दूसरे को हम कितना समय देते हैं ? क्या हम इन खूबसूरत रिश्तों की अहमियत भी समझते है ? आदि बातों पर हमें गहनता से ध्यान देना चाहिए । आज कल आदमी अपनी भागदौड़ भरी जिंदगी में कहीं न कहीं अपनों को समय के अभाव में सही से वक्त नहीं दे पाता है । इन रिश्तों में रहते हुए भी हमें एक-दूसरे के प्रति प्रेम के अस्तित्व का अहसास धीरे धीरे कमी जैसा महसूस होने लगता है । इन रिश्तों में खूबसूरती तभी कायम है जब आप इन्हें वक्त देंगे और इनका महत्व समझेंगे । मनुष्य जीवन में इन खूबसूरत रिश्तों के सिवाय कुछ भी नहीं है और इनके बिना ना तो जिंदगी खूबसूरत है और ना ही आप । उस इंसान से पूछना जिनका कोई नहीं । वो बता देंगा कि सब कुछ होते हुए भी वो कितना अकेला है , सब कुछ धन दौलत मकान ही नहीं होता । बिन अपनों के इंसान खुद को अकेला ही महसूस कर रहा होता है और जिंदगी भी उन्हें अधूरी सी लगती है । अगर आपका कोई सा भी रिश्ता है तो अपने आपको भाग्यशाली माने । इन रिश्तों की खूबसूरती को प्रेम , विश्वास , समय , सहयोग , महत्व देते हुए निखारे । अपनों के बीच रहकर जीवन को खूबसूरत बनाइए । हम ऐसे ही खूबसूरत रिश्तों से प्रेरित होकर इनसे मिले खूबसूरत अहसास , अनुभव को "खूबसूरत रिश्ते " नामक इस किताब के पन्नों पर उतारने का प्रयास कर पाए है । आशा करते हैं कि हमारा ये पहला प्रयास आप सब प्रिय पाठकों को जरूर पसंद आएगा । आपका भरपूर प्यार मिले ।